खोल बोतल शराब की
खोल बोतल शराब की I
मिल जाएगी जिंदगी
तुझे तेरे खवाब की II
बुजदिल भी यार पी के
दिलदार बन जाएंगे I
दो जाम उठाने दीजिए
फिर सुन बाते जनाब की II
मयकशी दवाते मिलाप
मेरी जिंदगी गुजर गई I
आज पीएंगे शरेआम
छोड़ बातें हिजाब की II
चल सम्भल सम्भल के तू
मालिक ए मैखाना I
चावी न गुम हो जाए कहीं
मय की दुकान की II
------मिलाप सिंह भरमौरी
खोल बोतल शराब की I
मिल जाएगी जिंदगी
तुझे तेरे खवाब की II
बुजदिल भी यार पी के
दिलदार बन जाएंगे I
दो जाम उठाने दीजिए
फिर सुन बाते जनाब की II
मयकशी दवाते मिलाप
मेरी जिंदगी गुजर गई I
आज पीएंगे शरेआम
छोड़ बातें हिजाब की II
चल सम्भल सम्भल के तू
मालिक ए मैखाना I
चावी न गुम हो जाए कहीं
मय की दुकान की II
------मिलाप सिंह भरमौरी
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